राजस्थान सरकार ने राज्य की महिलाओं के लिए एक और बड़ी राहत का ऐलान किया है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व वाली सरकार ने मुख्यमंत्री नारी शक्ति उद्यम प्रोत्साहन योजना को अब वर्ष 2028-29 तक के लिए बढ़ा दिया है। इस फैसले से स्वरोजगार की राह देख रहीं हजारों महिलाओं को आर्थिक सहायता और आत्मनिर्भरता की दिशा में प्रोत्साहन मिलेगा।
स्वरोजगार के लिए मिलेगा अनुदानयुक्त लोन
राज्य सरकार की इस योजना के तहत महिलाओं को नए उद्यम शुरू करने और पुराने व्यवसाय को आगे बढ़ाने के लिए अनुदानयुक्त ऋण दिया जाता है। यह कदम महिला सशक्तिकरण और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने की दिशा में अहम माना जा रहा है।
वित्त विभाग ने दी स्वीकृति
पहले यह योजना 31 मार्च 2024 तक के लिए स्वीकृत थी, जिसे बाद में 2025 तक बढ़ाया गया था। इसके बाद महिला अधिकारिता विभाग ने योजना की अवधि बढ़ाने के लिए फाइल वित्त विभाग को भेजी थी। राजस्थान पत्रिका द्वारा 26 अप्रैल को इस विषय पर रिपोर्ट प्रकाशित किए जाने के बाद, वित्त विभाग ने योजना को 2028-29 तक के लिए स्वीकृति दे दी है। अब महिलाएं पुनः इस योजना के लिए आवेदन कर सकेंगी।
योजना की अब तक की उपलब्धियां
मुख्यमंत्री नारी शक्ति उद्यम प्रोत्साहन योजना की शुरुआत वर्ष 2020-21 में की गई थी। तब से अब तक, इस योजना के अंतर्गत:
-
38,000 से अधिक महिलाओं ने आवेदन किया है।
-
इनमें से 4,000 से अधिक महिलाओं को लोन स्वीकृत किया गया।
-
वित्त वर्ष 2024-25 में 9,000 महिलाओं ने आवेदन किया, जिनमें से 1,400 से अधिक को लोन मिला।
क्या है योजना का उद्देश्य?
इस योजना का मुख्य उद्देश्य महिलाओं को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाना, उन्हें उद्यमिता के लिए प्रेरित करना और ग्रामीण तथा शहरी दोनों क्षेत्रों में महिला उद्यमियों की संख्या बढ़ाना है। इस फैसले से जुड़ी महिलाएं और सामाजिक संगठनों ने सरकार के इस कदम का स्वागत किया है। आने वाले वर्षों में यह योजना न केवल रोजगार के अवसर बढ़ाएगी, बल्कि प्रदेश की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने की दिशा में मील का पत्थर
